December 26, 2009

Ambrasiya Din

अंबरसिया दिन मीठे मीठे

संग चल आँखें मीचे मीचे

डूब के दिन में चल उबरे हम

हवा बनें और चल बिखरे हम

मस्ती धूप सी चढ़ती जाये

अब ये हसरत बढ़ती जाये

उधडूं ऊन के गोले सा मैं

हँसते हँसते तू जो खींचे

संग चल आँखें मीचे मीचे

अंबरसिया दिन मीठे मीठे…

.

अंबरसिया दिन मीठे मीठे

संग चल आँखें मीचे मीचे

घोंट के पी ले पल पल दिन का

तोड़ बाहों में तिनका तिनका

पीस दे मेंहदी जैसे हमको

कहाँ मिलेंगे हम फिर तुमको

तेरी ख़ातिर खेत बनूँ मैं

चाहत को फिर चाहत सींचे

संग चल आँखें मीचे मीचे

अंबरसिया दिन मीठे मीठे…

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4 responses to “Ambrasiya Din”

  1. tasveer says:

    i completely agree with wat Rutuja said in the last post…..in a matter of few days u’ve brought forth so many colours ….a big salute to ur versatality sir !

  2. Irshad Kamil says:

    Tasveer thanks a lot.

  3. Rutuja says:

    full of romance and natural congeniality…
    colourful …youthful…sparkling…enchanting…
    Super Like on this one…
    U r gr8
    🙂

    And
    Super Agree with Ms. Tasveer’s comment

  4. Irshad Kamil says:

    Rutuja thank u very much. thanks again to Tasveer also.

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